Kotputli : क्षेत्र की ग्राम पंचायत टसकोला का मामला, मुख्यमंत्री व चिकित्सा मंत्री को भेजा ज्ञापन जल्द से जल्द पीएचसी शुरू करवाये जाने की मांग, सितम्बर 2023 में ग्राम पंचायत बसई की पीएचसी को टसकोला किया गया था स्थानान्तरित | एक ओर जहाँ राज्य सरकार गांव-ढ़ाणियों तक बिजली, पानी, सडक़, शिक्षा एवं स्वास्थ्य जैसी मुलभूत सुविधायें पहुँचाने का हरसम्भव प्रयास कर रही है। वहीं दुसरी ओर विभागीय एवं प्रशासनिक लापरवाही व उदासीनता के चलते सरकार के यह प्रयास कही ना कही विफल होते नजर आ रहे है।
ताजा मामला क्षेत्र की ग्राम पंचायत टसकोला का है। जहाँ प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र स्वीकृत होने के डेढ़ वर्षो का समय बीत जाने के बावजूद भी उसे शुरू नहीं किया जा सका है। जिसके चलते ग्रामीण स्वास्थ्य सुविधाओं से वंचित है एवं महज उप स्वास्थ्य केन्द्र के भरोसे ही काम चला रहे है। इस सम्बंध में स्थानीय ग्रामीण कैप्टन सरदार सिंह शेखावत ने मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा, चिकित्सा मंत्री गजेन्द्र सिंह खींवसर, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के शासन सचिव एवं निदेशक व सीएमएचओ कोटपूतली-बहरोड़ डॉ. आशीष सिंह शेखावत को ज्ञापन भेजकर जल्द से जल्द प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र टसकोला को शुरू किये जाने की मांग की है। ज्ञापन में बताया कि प्रशासनिक लापरवाही व उदासीनता से ग्रामीण चिकित्सा सुविधाओं से महरूम है। जिससे उनमें आक्रोश की भावना पनप रही है। यही नहीं स्वीकृति के लगभग डेढ़ वर्षो का समय बीत जाने के बावजूद भी पीएचसी को शुरू नहीं किया जा सका है।
क्या है मामला
उल्लेखनीय है कि पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार में तत्कालीन मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने वर्ष 2022-23 के बजट में कोटपूतली की ग्राम पंचायत भालोजी व बसई में प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र स्वीकृत किये थे। पूर्व में भालोजी व बसई एक ही ग्राम पंचायत के दो अलग-अलग राजस्व ग्राम थे। जिनके मध्य में मात्र दो किलोमीटर की ही दूरी है। जो बाद में अलग-अलग पंचायत भी बन गये। ग्राम पंचायत बसई में पहले से ही उप स्वास्थ्य केन्द्र भी स्थित था, जिसे क्रमोन्नत करके प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र बनाया गया था। दोनों ही जगहों पर पीएचसी के चिकित्सकीय स्टॉफ की तैनाती भी कर दी गई थी।
बाद में विधानसभा चुनाव से पूर्व सितम्बर 2023 में चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के संयुक्त शासन सचिव निमिषा गुप्ता ने बसई पीएचसी को ग्राम पंचायत टसकोला में स्थानान्तरित कर दिया था। लेकिन इसका टसकोला उप स्वास्थ्य केन्द्र पर संचालन शुरू नहीं हो सका। यही नहीं बसई पीएचसी का स्टॉफ अभी तक बसई उप स्वास्थ्य केन्द्र पर ही तैनात है। वहीं पीएचसी भवन के निर्माण हेतु विगत वर्ष करीब 01 करोड़ 18 लाख रूपयों का टेंडर भी स्वीकृत कर दिया गया था। जिसका कार्य जमीन ना मिलने से शुरू नहीं हो सका। कुल मिलाकर स्थिति आसमान से गिरे खजूर में अटके वाली है। राज्य सरकार के स्पष्ट निर्णय के अभाव में दोनों ही गांव के लोगों को इसका लाभ नहीं मिल पा रहा है।
इनका कहना है
इस सम्बंध में सीएमएचओ डॉ. आशीष सिंह शेखावत का कहना है कि बसई से टसकोला स्थानान्तरित पीएचसी स्टॉफ की विभागीय मैपिंग ना होने के चलते स्टॉफ अभी भी बसई में ही कार्यरत है। जल्द ही टसकोला पीएचसी का स्टॉफ स्वीकृत करवाया जायेगा। वहीं बीसीएमओ डॉ. पूरण चंद गुर्जर का कहना है कि बसई पीएचसी को टसकोला स्थानान्तरित किया गया था। इस बजट में बसई हेतु अतिरिक्त पीएचसी की मांग की गई है। ऐसे में दोनों ही स्थानों पर जल्द से जल्द पीएचसी शुरू करने के प्रयास किये जा रहे है…. More News